निस्तब्ध सोच रहा हूँ
क्या ये मै ही हूँ
मै हूँ तो इस कदर मौन क्यों हूँ
क्या सचमुच मै ही हूँ
या ढूढ़ रहा हूँ खुद को और खुद में ही !
पर ये खोज बहुत मुश्किल है,
खुद के अन्दर खोज पाना खुद को ही ,
पर खुद को ---प्रयास जारी है ,
लगता है अब जाने की बारी है |
फिर होगा मौन ,मौन और बस मौन
और खोज ख़त्म हो जाएगी खुद ही |
क्या ये मै ही हूँ
मै हूँ तो इस कदर मौन क्यों हूँ
क्या सचमुच मै ही हूँ
या ढूढ़ रहा हूँ खुद को और खुद में ही !
पर ये खोज बहुत मुश्किल है,
खुद के अन्दर खोज पाना खुद को ही ,
पर खुद को ---प्रयास जारी है ,
लगता है अब जाने की बारी है |
फिर होगा मौन ,मौन और बस मौन
और खोज ख़त्म हो जाएगी खुद ही |
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